अशोक वाटिका लंका में हनुमान जी द्वारा राम मुद्रिका देकर माता सीता से भेंट Vol-1 -किस्सा सुन्दरकाण्ड

Описание к видео अशोक वाटिका लंका में हनुमान जी द्वारा राम मुद्रिका देकर माता सीता से भेंट Vol-1 -किस्सा सुन्दरकाण्ड

Dialogue Writer :- A K Singh
Artist - Deepika Vaje, Sanjay Tiwari
Producer - Kanhaiya Cassette Private Limited Pratappura Orchha (MP)
Director - Sandeep Seth Urf Deepak Seth

-------------------- { समर्पण } ------------------
रामायण का यह संग्रह प्रभु सीताराम के चरण कमलों मे प्रस्तुत करता हूँ कृति के निर्माण में अच्छाई का श्रेय संदर्भित ग्रंथ के उन विद्वान कथाकारों एवं परम आदरणीय अरुण कुमार सिंह (जज साहब) को जाता है जिनसे मुझे प्रेरणा मिली और त्रुटियाँ मेरी अपनी है जिसके लिये में ह्रदय से छमा प्रार्थी हूँ |
श्री सीता राम
दीपक सेठ
🙏

पटकथा एवं संवाद : सम्मानीय श्री अरुण कुमार सिंह (उच्च न्यायिक सेवा (मध्य प्रदेश) माननीय जज साहब का सुन्दरकाण्ड धारावाहिक रचना का यह उद्देश्य रहा कि इतनी सरल भाषा मे संवादो की रचना की ताकि आम जन भक्त सालता से सुन्दरकाण्ड की हर चौपाइयों व सभी 60 दोहो के भाव आसानी से समझ सके साथ ही कन्हैया कैसेट कंपनी के वर्तमान सेवक दीपक सेठ को प्रेरणा दी कि प्रत्येक चौपाइयों व सभी 60 दोहो एवं संवादों के भाव अनुसार चलचित्र दृश्यों का निर्माण कर जन-जन तक पहुंचाए अतः श्री जज साहब के मार्ग दर्शन में कृति का निर्माण कर आप सब जन समाज भक्तों के समक्छ प्रस्तुत है |

सुन्दरकाण्ड :- गोस्वामी तुलसीदास द्वारा १६वीं सदी में रचित

सुंदरकांड का रामायण में विशेष महत्व है। इस कांड में सीता की खोज में हनुमानजी का समुद्र लाँघ कर  लंका को जाना, सीताजी से मिलना और लंकादहन की कथा का वर्णन है।

श्री रामचरितमानस को तुलसीदास ने सात काण्डों में विभक्त किया है।
इन सात काण्डों के क्रमानुसार ये नाम हैं -
1.बालकाण्ड, 2.अयोध्याकाण्ड, 3.अरण्यकाण्ड, 4.किष्किन्धाकाण्ड, 5.सुन्दरकाण्ड, 6.लंकाकाण्ड (युद्धकाण्ड) 7.उत्तरकाण्ड।
छन्दों की संख्या के अनुसार बालकाण्ड और किष्किन्धाकाण्ड क्रमशः सबसे बड़े और छोटे काण्ड हैं।

 अवधी भाषा में गोस्वामी तुलसीदास द्वारा १६वीं सदी में रचित । इस ग्रन्थ को अवधी/हिंदी साहित्य की एक महान कृति माना जाता है। इसे'तुलसी रामायण / तुलसीकृत रामायण भी कहा जाता है। 
रामचरितमानस भारतीय संस्कृति में एक विशेष स्थान रखता है।

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