India and Russia explore Northern Sea Route (NSR), Eastern Maritime Corridor (EMC) in an effort to widen maritime cooperation.
The Eastern Maritime Corridor is a proposed sea route between Chennai, India, and Vladivostok, Russia, passing through the Sea of Japan, the South China Sea, and the Malacca Strait.
It would enable to transfer of cargo between Chennai and Vladivostok in 24 days in comparison to over 40 days currently taken to transport goods.
भारत और रूस समुद्री सहयोग को विस्तृत एवं व्यापक बनाने के उद्देश्य से उत्तरी समुद्री मार्ग (एनएसआर) तथा पूर्वी समुद्री गलियारे (ईएमसी) में संभावनाएं तलाश रहे हैं
केंद्रीय पत्तन, पोत परिवहन एवं जलमार्ग और आयुष मंत्री श्री सर्बानंद सोनोवाल ने रूसी गणराज्य में सुदूर पूर्व और आर्कटिक के विकास मंत्री श्री ए ओ चेकुनकोव से आज रूस के व्लादिवोस्तोक में "फार ईस्ट स्ट्रीट" स्थित कामचटका क्षेत्र के पवेलियन में मुलाकात की। बैठक में दोनों देशों के नेताओं ने समुद्री सहयोग को वृहद् एवं व्यापक बनाने के उद्देश्य से भारत और रूस के बीच समुद्री आवागमन की विस्तृत श्रृंखला पर चर्चा की, जिसमें उत्तरी समुद्री मार्ग (एनएसआर) के साथ-साथ व्लादिवोस्तोक तथा चेन्नई के बीच पूर्वी समुद्री गलियारे (ईएमसी) जैसे नए समुद्री परिवहन गलियारों के उपयोग की संभावना भी शामिल की गई है। इसके साथ भारत और रूस, रूस के व्लादिवोस्तोक में जीआई एडमिरल नेवेल्स्की रूसी समुद्री प्रशिक्षण संस्थान में ध्रुवीय एवं आर्कटिक समुद्र के जल में भारतीय नाविकों को प्रशिक्षित करने का निर्णय भी लिया गया। यह संस्थान सिम्युलेटर प्रशिक्षण सुविधाओं से सुसज्जित है।
इस अवसर पर श्री सोनोवाल ने अपने संबोधन में कहा है कि रूस तथा भारत के बीच संबंधों की जड़ें गहरी व ऐतिहासिक हैं और यह आपसी सम्मान एवं साझा हितों पर आधारित हैं। उन्होंने कहा कि हम सशक्त संबंध बनाए रखने और विभिन्न क्षेत्रों में रणनीतिक सहयोग को बढ़ावा देने के लिए वचनबद्ध हैं। श्री सोनोवाल ने बताया कि रूस की सरकार के सहयोग से हमारी टीम ने मई 2023 में व्लादिवोस्तोक, वोस्तोचन, नखोदका और कोजमिनो बंदरगाहों का दौरा किया था, जिससे हमें इस मुद्दे पर आगे बढ़ने के उद्देश्य से अंतर्दृष्टि प्राप्त करने में मदद मिली है। हम इस गलियारे के साथ कोकिंग कोयला, तेल तथा तरलीकृत प्राकृतिक गैस जैसी आवश्यक वस्तुओं के व्यापार एवं परिवहन के लिए प्रासंगिक हितधारकों को शामिल करने की कल्पना करते हैं। उन्होंने कहा कि मुझे आपको यह बताते हुए बेहद खुशी हो रही है कि हमने आगामी ग्लोबल मैरीटाइम इंडिया समिट (जीएमआईएस), 2023 में भाग लेने के लिए रूस को आमंत्रित किया है।
श्री ए ओ चेकुनकोव ने व्यापार के लिए वैकल्पिक मार्गों के बारे में अपने विचार भी साझा किये। उन्होंने कहा कि हम आपके निष्कर्ष से सहमत हैं कि इस क्षेत्र का संभावित कार्गो आधार कोकिंग कोयला, तेल, एलएनजी और उर्वरक ही होगा। सुदूर पूर्व में, यह उत्पाद श्रृंखला पर्याप्त मात्रा में मौजूद है और भारत के पूर्व में इसे प्राप्त करने के लिए बुनियादी ढांचे का निर्माण किया जा रहा है। श्री ए ओ चेकुनकोव ने कहा कि हम इस वर्ष अक्टूबर में एक व्यावसायिक मिशन पर चेन्नई का दौरा करेंगे और प्रमुख रूसी निर्यातकों की भागीदारी के साथ उपरोक्त परियोजनाओं के शुभारंभ के लिए भारतीय पक्ष के साथ पारस्परिक रूप से लाभप्रद समाधान विकसित करने के उद्देश्य के साथ तैयार हैं। श्री ए ओ चेकुनकोव ने कहा कि एनएसआर एक वैश्विक परिवहन परियोजना है और इसका विकास रूस तथा गैर-क्षेत्रीय देशों दोनों को आर्थिक लाभ प्रदान कर सकता है। उन्होंने कहा कि भारत के लिए यह पोत निर्माण उत्पादों की बिक्री बढ़ाने और उत्तरी गोलार्ध वाले देशों में सामान्य रसद व्यवसाय में भागीदारी से आय प्राप्त करने का एक अवसर भी है।
Benefits for India include:
Significant time reduction: It shortens the transportation time by up to 16 days, making it more efficient.
Presence in Southeast Asia: Chennai Port’s strategic location opens trade opportunities with Southeast Asian nations like Thailand, Vietnam, and Indonesia.
Access to Russia’s Far East: Vladivostok Port provides access to resource-rich regions, offering opportunities in sectors like energy, mining, and technology for Indian businesses.
India and Russia agree on training for seafarers in polar & Arctic waters at Russian Maritime Training Institute in Vladivostok
Shri Sarbananda Sonowal meets Russian Minister for Development of Far East & Arctic
India Russia Joint Maritime Commission to facilitate constructive discussion on various issues regarding development of the Northern Sea Route: Shri Sonowal
The Union Minister of Ports, Shipping & Waterways and Ayush, Shri Sarbananda Sonowal met with the Minister of the Russian Federation for the Development of the Far East and the Arctic, Mr. A.O. Chekunkov at the Pavilion of Kamchatka Territory, “Far East Street” in Vladivostok, Russia today. During the meeting, both the leaders discussed wide range of items of maritime communication between India and Russia to widen maritime cooperation including possibility of usage of new transport corridors like the Northern Sea Route (NSR) as well as the Eastern Maritime Corridor (EMC) between Vladivostok and Chennai. It was also decided that India and Russia agreed to train of Indian seafarersin Polar and Arctic waters at the Russian Maritime Training Institute, named after GI Admiral Nevelsky, which is equipped with simulator training facilities, in Vladivostok, Russia.
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