Extended Sankisa,संकिसा का विस्तार: Atranjikhera, बौद्ध सर्किट में शामिल अतरंजीखेड़ा,अचलपुर ग्राम,एटा

Описание к видео Extended Sankisa,संकिसा का विस्तार: Atranjikhera, बौद्ध सर्किट में शामिल अतरंजीखेड़ा,अचलपुर ग्राम,एटा

जनपद एटा के अतरंजी खेड़ा को प्रदेश सरकार ने बौद्ध सर्किट में शामिल कर पर्यटनस्थल के रूप में विकसित करने को पहल की है। अतरंजी खेड़ा स्थित राजा बेन चक्र का किला स्थल टीला हो चुका है। । किले को लेकर गांव में कई किवदंतियां प्रचलित हैं।

ग्राम प्रधान के अनुसार अतरंजी खेड़ा के पास काली नदी के किनारे सिंचाई विभाग की सैकड़ों एकड़ भूमि पड़ी है। उसको पौधारोपण कराकर बर्ड सेंचुरी के रूप में विकसित किया जा सकता है। इसके अलावा वर्ष 1962 की खुदाई में निकले राजा बेन चक्र के किला के अवशेष आज भी अलीगढ़ म्यूजियम में रखे हुए हैं।

~अतरंजी की बौद्ध बैरेंजा में रूप में भी है प्रसिद्धि:

यहां भगवान बौद्ध ने 517 वीं ईस्वी में 12वां वर्षावास किया था। इस दौरान उन्होंने चार माह तक गांव में रहकर लोगों को प्रवचन के माध्यम से अपने संदेश दिए थे। उन्होंने अधिकारियों को बताया कि बौद्ध पर्यटनस्थल के रूप में विकसित संकिसा में भगवान बौद्ध ने सिर्फ एक दिन प्रवचन किए थे।

~बौद्ध बैरंजा देखने देश-विदेश से आते हैं पर्यटक:

गिरौरा-अमांपुर मार्ग स्थित अतरंजी खेड़ा में बौद्ध बैरेंजा देखने देश ही नहीं, बल्कि श्रीलंका, कंबोडिया, थाईलैंड, जापान से भी पर्यटक आते हैं। जहां वह बौद्ध बैरंजा के साथ राजा बेन चक्र के किला को भी देखते हैं। बौद्ध धर्म के लोगों में बौद्ध बैरेंजा के रूप में अतरंजीखेड़ा पवित्र स्थल के रूप में माना जाता है।

Комментарии

Информация по комментариям в разработке