राष्ट्रसंत तुकडोजी महाराज भजन संग्रह | tukadoji maharaj bhajan collection- marathi|

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✅️ Bhajan Lyrics :-

राष्ट्रसंत तुकडोजी महाराज भजन संग्रह | tukadoji maharaj bhajan collection- marathi| #भजनसंग्रह #भजन

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{ चला हो ! हरिगुण गाऊ चला }

(चाल : सुदामजी को देखत श्याम...)

चला हो  ! हरिगुण गाऊ चला ॥धृ०॥

भिन्न मतांना विसरुनी जाऊ ।
मानवता समतेने दावू ।
निजसुख पाहू चला ॥चला हो ! ॥१॥

विसरुनी जाती जे अभिमाना ।
तेच प्रभुच्या लागति ध्याना ।
मिळुनिच जाऊ चला ॥ चला हो ! ॥२॥

गुण गाऊ निर्मल भावाने ।
समुदायाने एकमताने ।
सुखे सुखावू चला ॥ चला हो ! ॥३॥

सर्व जिवांचे हित हे जेथे ।
तेचि हरीचे निर्मळ गाथे ।
भाव दाखवू चला ॥ चला हो ! ॥४॥

तुकड्यादास म्हणे या या ना ।
अपुले -परकेविसरुनि जाना ।
मुळीच समावू चला ॥ चला हो ! ॥ ५॥

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{ देव आपुले अंतरी }

देव आपुले अंतरीं। आम्ही जातो तीर्थावरी ॥
देव आम्हासी पाहतो। आम्ही धोंडोबा पूजतो ॥
देव आम्ही प्रकाशितो । आम्ही अंधारी राहतो।
तुकड्या म्हणे कैसे जुळे?। जोवर अज्ञान ना टळे।।

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{ पिंड ब्रह्मांडाचा धनी }

श्री पंढरीनाथ-दर्शन
पिंड - ब्रह्मांडाचा धनी । उभा विटे कर ठेवोनी ॥
सोडी क्षीरसागर - वास । करी भीवरे निवास ॥
भक्तांसाठी उभा ठेला । पुंडलीक भक्त भला ॥
तुकड्या म्हणे अति थोर । रूप सावळे संदर ॥

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